रायपुर। Chhattisgarh Assembly Monsoon Session : विधानसभा के मानसून सत्र की शुरुआत विपक्षी हमलों से हुई। पहले ही दिन खाद संकट और 2024 की राजस्व निरीक्षक भर्ती परीक्षा में हुई गड़बड़ी को लेकर सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तीखी बहस देखी गई। विपक्ष ने जहां DAP खाद की कालाबाज़ारी का मुद्दा उठाया, वहीं भूपेश बघेल ने सदन में कहा कि किसानों को 1300 रुपये की खाद 2100 में खरीदनी पड़ रही है।
बघेल ने यह भी आरोप लगाया कि सरकार जानबूझकर धान उत्पादन रोकने के लिए खाद की आपूर्ति रोक रही है। दूसरी ओर, राजस्व निरीक्षक भर्ती में धांधली को लेकर भी सदन में खूब शोरगुल (Chhattisgarh Assembly Monsoon Session)हुआ। जब भाजपा विधायक राजेश मूणत ने मामला उठाया तो विपक्ष ने जोरदार हंगामा करते हुए वॉकआउट कर दिया।
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मंत्री ने भर्ती में गड़बड़ी मानी, EOW से जांच जारी(Chhattisgarh Assembly Monsoon Session)
राजस्व मंत्री टंकराम वर्मा ने भर्ती परीक्षा में गड़बड़ी की बात स्वीकारी और बताया कि पांच सदस्यीय समिति की रिपोर्ट में अनियमितता पाई गई है। उन्होंने कहा कि EOW से 40 बिंदुओं पर जांच कराई जा रही है और अगली विधानसभा बैठक से पहले उचित कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।
इस बीच, विपक्षी नेताओं का आरोप है कि सरकार जांच को कमजोर करने की कोशिश कर रही है। भूपेश बघेल ने मामले की CBI जांच की मांग (Chhattisgarh Assembly Monsoon Session)की और कहा कि भ्रष्टाचार में लिप्त लोगों को बचाया जा रहा है।
अजय चंद्राकर ने महेंद्र कर्मा यूनिवर्सिटी की भर्ती प्रक्रिया पर सवाल उठाते हुए कहा, यहां रोस्टर नियमों की धज्जियां उड़ाई गई हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा, जांच कमेटी बनाई गई है, रिपोर्ट आने पर एक्शन होगा।
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नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव में खाद की समस्या उठाई। उन्होंने कहा कि सरकारी समिति के पास खाद नहीं है, जबकि व्यापारी भरपूर बेच रहे (Chhattisgarh Assembly Monsoon Session)हैं। वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने वाणिज्यिक कर अधिनियम से संबंधित रिपोर्ट पटल पर रखी।
वन मंत्री केदार कश्यप ने प्रतिकरात्मक वनरोपण निधि अधिनियम का वार्षिक प्रतिवेदन प्रस्तुत किया।